tag:blogger.com,1999:blog-5924751737273980509.post1260769481542281818..comments2023-10-18T21:27:33.970+05:30Comments on ऋषभ की कविताएँ: परी की कहानीRISHABHA DEO SHARMA ऋषभदेव शर्माhttp://www.blogger.com/profile/09837959338958992329noreply@blogger.comBlogger4125tag:blogger.com,1999:blog-5924751737273980509.post-81297327398344427412011-01-29T05:05:47.048+05:302011-01-29T05:05:47.048+05:30@cmpershad
shiva
सुरेन्द्र सिंह " झंझट "...@cmpershad <br />shiva<br />सुरेन्द्र सिंह " झंझट " <br /><br />दरअसल इस कविता में उपभोक्तावाद के मोहक/मारक स्वरूप की व्यंजना का प्रयास किया था मैंने. आप लोगों ने इस मर्म को पकड़ा, इस हेतु कृतज्ञ हूँ.RISHABHA DEO SHARMA ऋषभदेव शर्माhttps://www.blogger.com/profile/09837959338958992329noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5924751737273980509.post-41408117517297673822011-01-27T14:19:11.585+05:302011-01-27T14:19:11.585+05:30अब 'मैं ' फिर धरती पर रेंग रहा है .
...अब 'मैं ' फिर धरती पर रेंग रहा है .<br /> बहुत सुन्दर रचना !सुरेन्द्र सिंह " झंझट "https://www.blogger.com/profile/04294556208251978105noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5924751737273980509.post-61470072146974504482011-01-27T09:07:47.132+05:302011-01-27T09:07:47.132+05:30नमस्ते सर जी .
बहुत सुंदर कवितानमस्ते सर जी .<br /> बहुत सुंदर कविताशिवाhttps://www.blogger.com/profile/14464825742991036132noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-5924751737273980509.post-2848958034115659672011-01-26T23:27:44.758+05:302011-01-26T23:27:44.758+05:30आसमां पर उड़नेवाले तेरी पतंग की डोर जिन हाथों में ...आसमां पर उड़नेवाले तेरी पतंग की डोर जिन हाथों में है<br /><br />ज़रा खौफ़ खा वर्ना मत कहना कि ये क्या कमाल हुआ॥चंद्रमौलेश्वर प्रसादhttps://www.blogger.com/profile/08384457680652627343noreply@blogger.com